इंदौर में बच्चा बेचने वाली गैंग का पर्दाफाश, 10 लाख में हुई थी डील
इंदौर | रावजी बाजार थाना क्षेत्र
इंदौर पुलिस ने बुधवार को एक बच्चे की तस्करी करने वाली गैंग का पर्दाफाश किया है, जिसमें 6 महिलाएं और 5 पुरुष शामिल हैं। यह कार्रवाई एक स्थानीय युवक रितेश व्यास की सतर्कता के चलते संभव हो पाई, जिसने पुलिस को योजना की जानकारी दी थी।
कैसे हुआ खुलासा?
रितेश व्यास, जो आजाद नगर क्षेत्र में ऑटो पार्ट्स की दुकान में कार्यरत हैं, की मुलाकात करीब छह महीने पहले प्रमिला साहू और वंदना मकवाना नामक दो महिलाओं से हुई थी। दोनों ने खुद को बुजुर्गों के लिए केयर सेंटर चलाने वाली बताया। धीरे-धीरे बातों में बच्चा गोद दिलाने की बात निकली, जिससे रितेश को शक हुआ।
रितेश और उसके दोस्त ने पुलिस के साथ मिलकर बच्चा गोद लेने की नकली डील की योजना बनाई। 4 अगस्त को आरोपियों को अग्रसेन चौराहा बुलाया गया, जहां प्रमिला और वंदना बच्चे की मां सोनू बेन समेत कुछ अन्य को लेकर आईं। सोनू की गोद में डेढ़ महीने का बच्चा था। जैसे ही डील की बात होने लगी, रितेश ने पुलिस को बुला लिया और सभी को रंगे हाथों पकड़ लिया गया।
10 लाख की डील, 4 लाख सोनू को
पुलिस जांच में सामने आया कि डील 10 लाख रुपए की थी, लेकिन बच्चे की जैविक मां सोनू को सिर्फ 4 लाख देने की बात कही गई थी। सोनू आर्थिक रूप से कमजोर है और मूल रूप से गुजरात की रहने वाली है। पहले पति द्वारा छोड़े जाने के बाद वह उज्जैन आई थी और धोखे में फंसकर दूसरी बार मां बनी।
‘लुटेरी दुल्हन’ गैंग से भी जुड़ाव
पुलिस को संदेह है कि यह गिरोह सिर्फ बच्चों की तस्करी ही नहीं, बल्कि ‘लुटेरी दुल्हन’ जैसी आपराधिक गतिविधियों में भी संलिप्त रहा है। इनका निशाना आर्थिक संकट से गुजरने वाली महिलाएं होती हैं।
एडिशनल डीसीपी दिशेष अग्रवाल के अनुसार सभी 11 आरोपियों को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया जाएगा। आगे की जांच जारी है।
