पशुओं को स्वस्थ रखना है तो गर्मी में ठंडा पानी पिलाएं,नहलाएं

 

उज्जैन।  अगर कृषक अपने पशुओं से पर्याप्त दूध उत्पादन की उम्मीद इस गर्मी के मौसम में रखते हैं तो  उन्हें गर्मी के इन दिनों में ठंडा पानी पिलाएं और नहलाएं। जिससे दूध उत्पादन में कोई कमी नहीं आ पाये। सर्दियों की अपेक्षा गर्मियों में दूध का उत्पादन कम हो जाता है। दूध कम देने से इसके निदान के तरीके पशु एवं डेयरी विभाग के उप संचालक डॉ.एमएल परमार ने निदान के तरीके पशु मालिकों को बताये हैं।

गर्मियों का मौसम होने के कारण लू का प्रकोप बना हुआ है। भीषण गर्मी में मनुष्य ही नहीं, पशु-पक्षी सहित समस्त जीव-जन्तु बेहाल होते हैं। इससे दुधारू पशुओं के दूध देने की क्षमता भोजन की मात्रा और पशुओं के व्यवहार में भी बदलाव आ जाता है। ऐसे में विशेषकर दुधारू पशुओं के सम्बन्ध में गर्मी के मौसम में उनका विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता होती है।

पशु को बुखार होने पर सुस्त हो जाता है-

गर्मी में पशु को लू लगने पर 106 से 108 डिग्री तेज बुखार होने के कारण पशु सुस्त होकर खानापीना छोड़ देते हैं, मुंह से जीभ बाहर निकल जाती है और उसे सही तरह से सांस लेने में कठिनाई होती है और पशु के मुंह से झाग आ जाते हैं, उनकी आंख व नाक लाल हो जाते हैं। नकसीर आने पर पशु के हृदय की धड़कन तेज हो जाती है और उसे सांस लेने में कठिनाई होती है। इन सब बातों के निदान के उपाय यह है कि पशु आवास में स्वच्छ वायु आना चाहिये, दूषित वायु बाहर निकलने के लिये रोशनदान होना चाहिये। गर्म दिनों में पशु को दिन में नहलाना चाहिये और विशेषकर भैंसों को ठण्डे पानी से नहलाना चाहिये। गर्मी के दिनों में पशु को ठण्डा पानी पर्याप्त मात्रा में पिलाना चाहिये। संकर नस्ल के पशु जिनको अधिक गर्मी सहन नहीं होती है, उनके आवास में पंखे या कूलर लगाना चाहिये। पशुओं को चराई के लिये सुबह जल्दी और शाम को देर से भेजना चाहिये।

लू लगने पर प्याज एवं पुदीने का अर्क पिलाएं-

पशुओं को लू लगने पर उपचार का उपाय बताते हुए बताया कि पशुओं को लू लगने पर उसे पानी से भरे गड्ढे में रखकर उस पर ठण्डे पानी का छिड़काव करना चाहिये। पशुओं के शरीर पर बर्फ लगाना चाहिये। पशु को प्याज एवं पुदीने का अर्क पिलाना चाहिये। पशुओं को ठण्डे पानी में चीनी, भुने हुए जौ और नमक का मिश्रण पिलाना चाहिये। यदि इन उपायों से भी आराम नहीं मिलता है तो नजदीकी पशु चिकित्सा संस्था से सम्पर्क पशु मालिकों को करना चाहिये।