महाकाल में खुदाई में निकले प्राचीन मंदिर का निर्माण अब पुरातत्व विभाग करेगा – शुक्रवार को टीम ने उज्जैन में यूडीए अफसरों के साथ किया मंदिर का निरीक्षण 

 
दैनिक अवंतिका उज्जैन। 

ज्योतिर्लिंग महाकाल मंदिर में जून 2021 में खुदाई के दौरान निकले एक हजार साल पुराने परमार कालीन मंदिर के अवशेषों को मिलाकर अब प्राचीन मंदिर का पुनर्निर्माण होगा। यह निर्माण पुरातत्व विभाग द्वारा किया जाएगा। 

पिछले साल पुरातत्व विभाग ने इसके लिए 65 लाख रुपए की स्वीकृति दी थी। लेकिन टेंडर प्रक्रिया में ठेकेदारों की रुचि नहीं होने के कारण काम शुरू नहीं हो सका था। अब विभाग ने खुद निर्माण का दायित्व लिया है। पुरातत्व विभाग भोपाल के अधिकारी डॉ. रमेश यादव ने बताया निर्माण सामग्री और मैनपावर के लिए टेंडर प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। 37 फीट ऊंचे मंदिर के निर्माण में 95 प्रतिशत पुराने पत्थरों का उपयोग करेंगे। केवल क्षतिग्रस्त हिस्सों में नए पत्थर लगाए जाएंगे। शुक्रवार को पुरातत्व विभाग की टीम ने महाकाल मंदिर में यूडीए के साथ पत्थरों को रखने के स्थान को लेकर चर्चा की व  मंदिर का निरीक्षण भी किया। इस दौरान उपयंत्री पुष्पेंद्र रोकड़े, यूडीए उपयंत्री शैलेंद्र जैन और त्रिवेणी संग्रहालय के संग्रहाध्यक्ष योगेश पाल मौजूद थे।

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