उज्जैन। बेमौसम बारिश ने किसानों की प्याज की फसल बिगाड दी है। इसके सर्वे एवं मुआवजा की मांग को लेकर सोमवार को भारतीय किसान संघ प्रशासनिक जोन कलेक्टोरेट पहुंचा और यहां नारेबाजी कर अपनी 8 मांगों के संबंध में एक ज्ञापन कलेक्टर के नाम तहसीलदार आलोक चौरे को दिया है। मांगों में कृषि भूमि की गाईड लाईन बढाने के मुद्दे पर भी किसान संघ मुखर हुआ है।
भारतीय किसान संघ जिला अध्यक्ष बहादुरसिंह आंजना ने बताया कि उज्जैन जिले के लगभग सभी क्षेत्रों में पिछले एक माह से लगातार बारिश हो रही हैं और इसी समय प्याज की फसल को निकालने का समय रहता है। इस बारिश से कुछ जगह प्याज खेत में तो कुछ जगह किसान के घर पर खराब हो गया। इस दौरान कृषि विभाग / उद्यानिकी विभाग ने न तो वर्षा सम्बन्धित कोई चेतावनी दी और न ही प्रभावित क्षेत्र का सर्वे किया। अतः सर्वे करवा कर किसानों को मुआवजा दिया जाए। बेमौसमी बारिश से खराब हुए प्याज की आड लेकर व्यापारी मनमानी कर रहे हैं और अच्छे प्याज भी मंडी में एक रुपए दो रुपए किलो में खरीद रहे हैं जबकि प्याज की लागत लगभग 13 रूपए किलो आती है। लागत के आधार पर 20 रूपए से बोली की शुरुआत की जाए। 2024 में सोयाबीन की फसल को काफी नुकसान हुआ था जिसका बीमा सर्वे के बावजूद नहीं दिया गया अतः बीमा शीघ्र दिया जाए। कृषि भूमि की गाइडलाइन बढ़ाई जाए। आवारा पशु रोजडा से किसानों की फसलों को काफी नुकसान हो रहा हैं कई बार चेतावनी दी गई ,अब ग्रामीण क्षेत्रों में रोजडा दुर्घटना का बडा कारण बन रहा है जिसमें कई किसानों की जान तक गई है। शासन प्रशासन रोजडो को पकड कर वन क्षेत्र में छोडे। DAP और NPK के भाव काफी बढ़ा दिए हैं उन्हें कम किया जाए। खाद के साथ दिए जाने वाले अनावश्यक अटैचमेंट बंद किए जाए। नर्मदा सिंचाई लाइन बढ़ाई जाए। जैसे घटिया, खाचरोद, उज्जैन के कुछ गांव में भी इस लाईन को दिया जाए। सहकारी संस्थाओं के किसानों के ब्याज का सरकार द्वारा वापसी का आश्वासन दिया गया था अतः किसानों के खाते में ब्याज का पैसा वापस लौटाया जाए।
इस अवसर पर प्रांत सह मंत्री भारत सिंह बेस, संभागीय अध्यक्ष दशरथ पंड्या, संभागीय उपाध्यक्ष उदय सिंह आंजना, जिला मंत्री ईश्वर सिंह, जिला कोषाध्यक्ष राजेश सोलंकी, कार्यालय मंत्री सुरेश चौधरी सहित तहसीलों के अध्यक्ष एवं कार्यकर्ता बंधु उपस्थित रहे।
