रतलाम में दिल्ली-मुंबई ट्रैक की मिट्‌टी बही, 28 ट्रेन डायवर्ट, इंदौर- उज्जैन में बाढ़ जैसे हालात

 

इंदौर,उज्जैन, धार, रतलाम में सोमवार को भी स्कूलों में अवकाश घोषित, नहर फूटने से बड़वानी-सेंधवा हाईवे बंद

शिवना नदी ने पशुपतिनाथ के गर्भगृह में पहुंचकर किया अभिषेक

भोपाल। बंगाल की खाड़ी से उठे स्ट्रॉन्ग सिस्टम ने मध्यप्रदेश के 13 जिलों को सूखे (औसत से कम बारिश) से बाहर निकाल दिया है। 6 जिले- भोपाल, अलीराजपुर, नीमच, शाजापुर, दमोह, सिंगरौली रेड जोन से बाहर आने के मुहाने पर हैं। नर्मदा, शिप्रा, चंबल, कालीसिंध समेत सभी छोटी-बड़ी नदियां उफान पर हैं। बरगी, ओंकारेश्वर, इंदिरा सागर, यशवंत सागर बांध के गेट खोलकर शनिवार को पानी छोड़ा गया है।
इंदौर और उज्जैन में ऐसे हालात बने कि पानी में घिरे लोगों को बोट से रेस्क्यू करना पड़ा। यहां बाढ़ जैसे हालात हैं। उज्जैन के निचले इलाकों में पानी भरा हुआ है। उज्जैन कलेक्टर कुमार पुरुषोत्तम ने 18 सितंबर को जिले में प्री नर्सरी से 12वीं तक के सभी सरकारी, प्राइवेट स्कूल और आंगनवाड़ी केंद्रों में अवकाश घोषित किया है। शनिवार को भी उज्जैन में स्कूलों में अवकाश था। इंदौर, धार, रतलाम में प्री नर्सरी से 12वीं तक के सभी सरकारी और प्राइवेट स्कूलों में अवकाश घोषित किया गया है।
रतलाम मंडल के पंच पिपलिया और अमरगढ़ के बीच रेल ट्रैक की मिट्‌टी बह गई। दिल्ली – मुंबई का अप लाइन ट्रैक प्रभावित हुआ है। दिल्ली से रतलाम होकर आगे जाने वाली 28 ट्रेन को डायवर्ट रूट से चलाया जा रहा है। 4 को शॉर्ट टर्मिनेट किया गया है। 7 ट्रेन निरस्त करना पड़ी हैं। शनिवार को इसी ट्रैक पर 3 किलोमीटर दूर लैंडस्लाइड से पत्थर आ गिरे थे।

शिवना नदी ने किया भगवान पशुपतिनाथ का अभिषेक

मंदसौर में इस सीजन में पहली बार शिवना नदी ने भगवान पशुपतिनाथ का अभिषेक किया। शनिवार रात नदी का पानी मंदिर के गर्भगृह में पहुंच गया। भगवान के चारों मुख डूब गए। रविवार सुबह पानी उतरने के बाद साफ-सफाई कर आरती की गई।

धार के 5 गांव में नर्मदा का बैकवॉटर घुसा

24 घंटे में धार में रिकॉर्ड 11.86 इंच बारिश हुई। धार के मनावर में पांच गांव में नर्मदा का बैकवॉटर घुस गया। लोगों ने शनिवार की रात छत पर गुजारी। धार जिले के धामनोद में ग्रामीणों ने खलघाट फोरेलेन जाम कर दिया। ग्रामीण बारिश से खराब हुई फसलों का मुआवजा की मांग कर रहे हैं।

बड़वानी में नहर फूटी, नर्मदा खतरे के निशान से ऊपर

बड़वानी शहर के पास सजवानी गांव में नहर फूट गई। पानी घरों-खेतों में भर गया। ​​​​​​रोड तक पानी आने से ​बड़वानी-सेंधवा स्टेट हाईवे पर यातायात बंद हो गया। बड़वानी में नर्मदा खतरे के निशान से 19 मीटर ऊपर बह रही है। नदी के किनारे बसे गांव में पानी घुसने लगा है। इधर, जिले के ग्राम भवति में बाढ़ से नाराज ग्रामीणों ने सरकार और जिला प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री के पुतलों की गांव में शव यात्रा निकाली। इसके बाद पुतलों को फूंक दिया।

मालवा-निमाड़ में भारी बारिश, कई डूबे गांव, नदियां भी उफान पर

मध्यप्रदेश में शुक्रवार से जारी बारिश का दौर अब भी थमता नजर नहीं आ रही है। इन दो दिनों की बारिश ने जहां इंदौर में 61 सालों का 24 घंटे में सर्वाधिक बारिश का रिकार्ड तोड़ दिया तो वहीं कई जिलों में बाढ़ जैसे हालात पैदा कर दिए। नर्मदा, ताप्‍ती और चंबल नदी उफान पर है, तो वहीं सैकड़ों एकड़ में लगी फसलों को भी नुकसान पहुंचा है। इसके साथ ही कई इलाकों में भी पानी भर गया है, ऐसे में वहां से लोगों को रेस्‍क्‍यू कर निकाला गया है।

कई क्षेत्रों में हुई रिकॉर्ड बारिश

धार में 11.86 इंच (शनिवार सुबह 8.30 से रविवार सुबह 8.30 तक) रिकॉर्ड बारिश हुई। पहले कभी सितंबर में इतनी बारिश नहीं हुई।
कट्‌ठीवाड़ा (अलीराजपुर) में 13.42 इंच (शनिवार सुबह 8.30 से रविवार सुबह 8.30 तक) बारिश हुई। यह पश्चिमी हिस्से का दूसरा ओवर ऑल रिकॉर्ड है। इससे पहले 8 सितंबर 2014 को 24 घंटे में खंडवा शहर में 14.44 इंच बारिश हुई थी।
झाबुआ जिले के मेघनगर में भी रिकॉर्ड 11.86 इंच पानी (शनिवार सुबह 8.30 से रविवार सुबह 8.30 तक) गिरा।
इंदौर में 61 साल का रिकॉर्ड टूटा। 24 घंटे (शुक्रवार सुबह 8.30 से शनिवार सुबह 8.30) में 6.73 इंच पानी गिरा। इससे पहले 20 सितंबर 1962 को 6.68 इंच पानी गिरा था।
भोपाल में 11 साल का रिकॉर्ड ब्रेक हुआ। शुक्रवार सुबह 8.30 से शनिवार सुबह 8.30 बजे तक 2.82 इंच पानी गिरा। इससे पहले 9 सितंबर 2019 में 5.52 इंच पानी गिरा था।
बैतूल के भीमपुर में शुक्रवार सुबह 8.30 बजे से शनिवार सुबह 8.30 बजे तक रिकॉर्ड 17.51 इंच बारिश हुई।

ऐसा मौसम आगे भी

वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. वेदप्रकाश सिंह ने बताया कि उत्तरी बंगाल की खाड़ी और निकटवर्ती ओडिशा तट के आसपास लो प्रेशर एरिया, साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम एक्टिव है। मानसून ट्रफ लाइन भी गुजर रही है। इसकी वजह से लगातार बारिश हो रही है। 18 सितंबर की सुबह सिस्टम गुजरात की ओर मूव करेगा। इससे बारिश की गतिविधि घटेगी।