गर्मी की बेरूखी से इलेक्ट्रानिक बाजार का गणित गडबडाया,व्यवसायी दोहरे संकट में  बचा माल रखने की गोदाम में जगह नहीं,सडक पर रखे तो दिक्कत -गर्मी के कमजोर मौसम से ग्राहकी और खरीदी कमजोर रही , जमकर फसा पैसा

उज्जैन । गर्मी ने इस बार 20-20 की तरह फटाफट का खेल खेला। मौसम की इस बेरूखी से इलेक्ट्रानिक बाजार में अर्थ का गणित गडबडा गया है। कमजोर गर्मी के मौसम  से ग्राहकी कमजोर रही है और व्यापारी दोहरे संकट में फंसा हुआ है। जमकर पैसा तो फसा ही हुआ है इसके साथ ही बचा माले रखने की गोदाम में जगह नहीं है और सडक पर रखने पर दिक्कत ही दिक्कत है। अभी तो व्यापारी दोहरे संकट से निकलने का उपाय ढूंढ रहे हैं।

बाजार में इस वर्ष गर्मी को देखते हुए और पिछले वर्ष के अनुभव के चलते व्यापारियों ने मार्च अप्रेल में ही जमकर कूलर,फ्रीज एवं एसी का स्टाक किया था। हाल यह रहे की अब तक का गर्मी का मौसम क्रिकेट के  20-20 मैच की तरह निकल गया। व्यापारी का स्टाक खरीदने के लिए ग्राहकी कमजोर रही और जमकर कूलर,फ्रीज,एसी बचे हुए हैं। व्यापारी की दुकान में पहले से ही जगह नहीं थी, उसने ऐसे ही सडक पर ही इन्हें रखा हुआ था । अब पिछले 15 दिन से मानसून जैसा हाल होने पर जो ग्राहक आ रहे थे वे भी आना बंद हो गए हैं ऐसे में नए कुलर ,फ्रीज, एसी को धूल से बचाने के लिए व्यापारी के पास गोदाम में भी इतनी जगह नहीं बची है।

 

मौसम ने बिगाड़ा बाजार का खेल-

पिछले वर्ष जिस तरह की खरीदी हुई थी उससे अनुमान लगाया जा रहा था कि मई में गर्मी अपना रौद्र रूप दिखाएगी और इलेक्ट्रॉनिक बाजार में धन बरसेगा। इसके लिए व्यापारियों ने जमकर तैयारी की थी। व्यापारी की उम्मीद के दाव पर मौसम ने पैंतरा बदल दिया और  इस फेर ने इलेक्ट्रॉनिक बाजार का खेल बिगाड़ दिया। उम्मीद के विपरित इस बार कुलर,फ्रीज,एसी,पंखे की खरीद में 50 प्रतिशत से अधिक की गिरावट पिछले वर्ष की तुलना में बताई जा रही है।

पिक टाईम में एक माह पूरा पिटा-

बिजनेस के लिहाज से अप्रैल और मई के शुरुआती 15 दिन को एसी यानी एयर कंडिशनर और कूलर का पीक टाइम माना जाता है। अप्रैल के पहले पखवाड़े में तो बिक्री का दौर चला। लेकिन, पिछले 01 महीने से एसी, कूलर की बिक्री ठप हो गई है। इस कारण कारोबार में 50 प्रतिशत तक घाटा हुआ है। व्यापारियों ने बताया कि पिछले साल की तुलना में इस बार एयर कंडिशनर का 50 प्रतिशत से अधिक कारोबार प्रभावित रहा है। मई जून से पहले ही रौद्र रूप दिखा रही गर्मी के

चला और उसके बाद बैठा तो बैठ ही गया-

व्यापारी बताते हैं कि अप्रेल में ही शुरूआत में थोडा बहुत धंधा चला था उसके बाद तापमान के हाल ऐसे रहे ही नहीं कि कुलर, एसी की मांग बढने लगे। इसके बाद बाजार जो बैठा तो बैठ ही गया है। पिछले 15 दिनों से निरंतर मौसम के हालात मानसून जैसे प्रति दिन बनने से तो जो थोडा बहुत व्यापार चल रहा था वह भी बैठ गया है। शुरूआत की खरीदी से उत्साहित व्यापारी ने एक दम जमकर स्टाक मंगवाया था उसे उम्मीद थी की खरीदी शुरूआत में ऐसी है तो मई में कैसी होगी। इसी को आधार मानकर व्यापारियों ने स्टाक मंगवा लिया जो अब उसके लिए परेशानी का सबब बन रहा है।इसके बाद मई में मौसम ने व्यापार और व्यापारियों का गणित ही बिगाड़ दिया। बारिश और बादलों के साथ हवाओं ने गर्मी को नियंत्रण में रखा तो इलेक्ट्रॉनिक बाजार में मंदी का दौर बादलों की तरह छाया हुआ है।

 

मौसम के साथ बिजली की खपत भी कमी-

 

मौसम के बदले रंग ने बिजली की खपत को भी प्रभावित किया। बारिश और ठंडी हवाओं की वजह से बिजली की खपत में 20 प्रतिशत तक गिरावट आई है। बे-मौसम बारिश के कारण पानी की बचत और ग्राउंड वाटर लेवल में सुधार हुआ है।

पौना माह बीता, मई के तेवर शेष-

संभवत: ऐसा पहली बार हो रहा है जब लगातार मई माह में इतने दिनों तक प्रदेश के किसी न किसी हिस्से में तेज आंधी, बारिश हुई। इस दौरान ओले गिरे हों,बराबर छूटपुट बारिश जिले में कहीं न कहीं दर्ज की गई हो  जानकारों के अनुसार 20 मई के बाद ही मई की गर्मी का असली दौर शुरू होगा। पिछले 15 साल में यह दूसरी बार हो रहा है जब कि मई महीने में गर्मी से ज्यादा बारिश रिकॉर्ड बना रही है। वेस्टर्न डिस्टरबेंस और ट्रफ सिस्टम लगातार एक्टिव हैं, जिससे यह बदलाव देखने को मिल रहा है। 4 से 19 मई तक बारिश हो चुकी है।

 

पश्चिमी विक्षोभ और चक्रवात एक साथ-

मौसम वैज्ञानिकों के मुताबिक वेस्टर्न डिस्टरबेंस या पश्चिमी विक्षोभ ऐसे तूफान होते हैं, जो वायुमंडल की ऊंची सतह में भूमध्य सागर, अटलांटिक महासागर और कैस्पियन सागर से नमी लाकर अचानक बारिश या ओलावृष्टि कराते हैं। सर्दियों के मौसम में इनकी फ्रीक्वेंसी कम होती है। लेकिन, अब इनकी संख्या ज्यादा दिखाई दे रही है। इसके अलावा साइक्लोनिक सर्कुलेशन यानी चक्रवात और ट्रफ भी एक्टिव है। मई के तीसरे सप्ताह में ही एक-एक वेस्टर्न डिस्टरबेंस, ट्रफ और साइक्लोनिक सर्कुलेशन एक्टिव रहा। इस वजह से तेज आंधी के साथ बारिश हुई।

 

 

रोड पर रखे कूलरों को किया जप्त-

सोमवार को नगर निगम अतिक्रमण गैंग ने तेलीवाड़ा चौराहा, कंठाल, नई सड़क एवं एटलस चौराहे तक कार्यवाही करते हुए मुख्य मार्ग रोड पर दुकानदारों द्वारा रखे गए कुलरों, होर्डिंग, फ्लेक्स इत्यादि सामग्रियों को जप्त किया है। कार्रवाई से पूर्व गैंग ने उद्घोषणा की थी उसके बाद भी दुकानदारों ने सामान नहीं हटाया था।

 

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