उज्जैन के पंथपिपलाई में- वृद्धा की जमीन पर जालसाजों की गिध्द नजर

ब्रह्मास्त्र विशेष

फर्जी दस्तावेज व फर्जी पावती बनाकर जमीन हड़पने की साजिश,
कम दाम में जमीन बेचने का दबाव,
मारपीट व जान से मारने की धमकी

उज्जैन एसपी के निर्देश पर जांच तो शुरू हुई ,लेकिन अभी तक आरोपियों पर नहीं हुई फर्जीवाड़े की एफआईआर

उज्जैन। 75 साल की एक वृद्ध महिला और उनका परिवार इन दिनों ऐसे जालसाज व गुंडों से परेशान हैं, जिन्होंने वृध्दा की जमीन हथियाने के लिए कूटरचित दस्तावेज तैयार कर लिए। इन फर्जी दस्तावेजों के जरिए वह आए दिन मुश्किलें खड़ी करते रहते हैं। वृद्ध महिला ने अपनी पीड़ा पुलिस और तमाम जिम्मेदारों को लिखित में दी है, उसे देखकर बार-बार यह सवाल खड़ा होता है कि कानून नाम की कोई चीज है भी या नहीं? बुजुर्ग महिला ने या उनके परिवार पर तरह – तरह के जब- जब भी हमले हुए, ,तब तब इंदौर और उज्जैन में बाकायदा विभिन्न थानों में आपराधिक प्रकरण भी दर्ज करवाएं हैं, परंतु जालसाजों और उनके गुंडों के हौसले फिर भी बुलंद हैं। फर्जी पावती और फर्जी दस्तावेजों को लेकर उज्जैन एसपी के निर्देश पर पुलिसिया जांच तो शुरू हुई, लेकिन जिस ढंग से जांच की जा रही है, उसे लेकर वृद्धा और उनके परिजन हैरान- परेशान हैं। जांच भी एक पक्षीय ही नजर आ रही है। वरना, अब तक नानाखेड़ा थाने में फर्जीवाड़े मामले में एफआईआर दर्ज हो चुकी होती और जालसाज जेल की सलाखों के पीछे होते। हालात बता रहे हैं कि वक्त रहते आला अधिकारियों को हस्तक्षेप कर इस मामले को गंभीरता से लेना चाहिए। यह इसलिए भी जरूरी है क्योंकि बुजुर्ग महिला ने अपनी जान का खतरा बताया है।
उज्जैन जिले के ग्राम पंथपिपलाई की बुजुर्ग महिला सुरेंद्र कौर छाबड़ा व्दारा की गई शिकायत में बताया है कि सतिंदर सिंह , महिंदर सिंह एवं इनके गुंडे संगठित होकर मेरी जमीन की फर्जी पावती और दस्तावेज बनाकर मेरी भूमि हड़पने के लिए मुझसे एवं मेरे परिवार से मारपीट कर रहे हैं। मुझ पर कम दाम में भूमि बेचने का दबाव बना रहे हैं।

 

फर्जी दस्तावेज बनाकर 75 साल की वृद्ध महिला की जमीन हड़पने की साजिश

इन लोगों ने जमीन के फर्जी दस्तावेज बनाकर मेरे साथ छल और धोखाघड़ी की है। मुझे और मेरे परिवार को खेती करने से रोकते हैं। खेती पर जाकर फसल नष्ट करते हैं। पाइप लाइन तोड़ते हैं। मोटर उखाड़ते हैं और मेरी संपत्ति का नुकसान करते हैं। लाखों की फसल नष्ट कर चुके हैं। जमीन पर जाने से रोकने के लिए मारपीट करते हैं और जान से मारने की धमकी देते हैं।

सीबीआई अदालत ने आरोपियों को सुनाई थी 5 साल की सजा

यह लोग आदतन अपराधी हैं। संगठित होकर बेखौफ अपराध करते जा रहे हैं।
एक अन्य मामले में इन लोगों को सीबीआई न्यायालय से ५ साल की सजा हाई कोर्ट इंदौर में दर्ज केस नंबर सीआरए 2011/ 2014 में भादवि की धारा 420,471,467 ,468,120 बी के तहत वर्ष 2014 में दी गई

एसपी उज्जैन के निर्देश पर शुरू हुई थी फर्जीवाड़े की जांच

पुलिस थाना नानाखेड़ा द्वारा फर्जी पावती और दस्तावेज की जांच एसपी उज्जैन के निर्देश के बाद ही शुरू की गई है। पुलिस नानाखेड़ा द्वारा आरोपियों को बचाने के लिए भादवि धारा 420,467,468 की कार्रवाई दस्तावेजी प्रमाण के बाद भी नहीं की जा रही है। जांच में आरोपियों के विरुद्ध साक्ष्य को छुपाया जा रहा है। कानूनी प्रक्रिया का गलत उपयोग कर आरोपियों को बचाने का प्रयास किया गया है।

पुलिस ने आरोपियों से फर्जी दस्तावेज भी नहीं किए जब्त

फरियादिया ने बताया कि गत 16 अप्रैल को मेरी हैंडराइटिंग के नमूने जांच अधिकारी ने थाना नानाखेडा में गवाहों के सामने लिए थे। बाद में 1 मई को जांच अधिकारी ने लिखित नोटिस देकर हैंडराइटिंग की जांच के लिए मुझसे दस्तावेज पंचनामा बनाकर जब्त किए थे, लेकिन कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई है। आरोपियों से कोई फर्जी पावती और दस्तावेज जब्त नही किए हैं। आरोपियों की हैंडराइटिंग के नमूने भी नही लिए हैं। न ही तहसील कार्यालय का रिकॉर्ड जब्त किया है। जिससे कूटरचना की तस्दीक होती है।

जांच अधिकारी पर आरोप

वृद्धा का गंभीर आरोप है कि आरोपियों को बचाने के लिए जांच अधिकारी गुलजार सिंह साक्ष्य को छुपा रहे हैं। एफआईआर दर्ज न कर आरोपियों को साक्ष्य मिटाने का अवसर दे रहे हैं।

वृध्दा और परिजनों को जान का खतरा

फरियादिया का कहना है कि वह 75 वर्षीया कमजोर लाचार महिला है। पुलिस द्वारा दस्तावेजी प्रमाण के बावजूद 420 और धोखाधड़ी की एफआईआर दर्ज न किए जाने से उसे और उसके परिवार को इन बाहुबली और दबंग लोगों से जान का खतरा पैदा हो गया है। यह लोग जमीन हथियाने के लालच में मुझे और मेरे परिवार को जान से मार देंगे। इसलिए दस्तावेजी प्रमाण के आलोक में सही प्रक्रिया का पालन कर इन लोगों पर भादवि धारा 420,467,468,471,
120 बी के तहत वृद्धा की जान – माल की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।

आरोपियों पर इंदौर – उज्जैन में विभिन्न थानों में प्रकरण दर्ज

वृध्दा की शिकायत पर इन आरोपियों पर विजय नगर थाना इंदौर में एफआईआर नंबर 82/2012 ,खजराना थाना इंदौर में एफआईआर नंबर 327/2014 ,नानाखेड़ा थाना उज्जैन में एफआईआर नंबर 335/2020 और नानाखेड़ा थाना उज्जैन में एफआईआर नंबर 0276/2022 दर्ज है।

आखिर क्यों नहीं हो रही कार्रवाई?

फर्जीवाड़े के तमाम दस्तावेज मौजूद होने के बावजूद आखिर पुलिस इस मामले में कार्यवाही क्यों नहीं कर पा रही है ? इसे लेकर सवाल उठ रहे हैं। क्या इस मामले में किसी बाहुबली नेता का हस्तक्षेप है?