आज से ढाई दिनों के लिए विराजमान रहेगी ज्येष्ठा-कनिष्ठा गौरी

इंदौर ।  महाराष्ट्रीयन परिवारों में दस दिनी गणेशोत्सव का उल्लास 21 सितंबर से दुगना हो जाएगा। इस अवसर पर ढाई दिनी महालक्ष्मी की स्थापना का होगा। महालक्ष्मी आली सोनाच्या पायानी के जयघोष के साथ घर में हल्दी-कुमकुम के छापे बनाते हुए कुल परंपरानुसार ज्येष्ठा और कनिष्ठा गौरी का घर में प्रवेश कराकर महालक्षमी के साथ विराजित किया जाएगा।
उत्सव की तैयारियां जिन परिवारों में कुल परंपरानुसार पीढ़ियों से की जा रही है, उनके यहां तैयारियां बुधवार से शुरू हो गई हैं। पहले दिन उन्हें भाजी-बाखर (रोटी-सब्जी) और वरण-भात (दाल-चावल) का भोग लगेगा। दूसरे दिन मुख्य आयोजन में महानिवैध लगाया जाएगा।
इस अवसर पर घर में बहन-बेटियों और नाते-रिश्तेदारों का मेला लगेगा। तीसरे दिन शनिवार को सुख-समृद्धि की कामना के साथ विदाई दी जाएगी। सूर्यदेव नगर निवासी राखी सूपेकर और कृष्णा सुपेकर का कहना है कि दूसरे दिन शुक्रवार को महापूजा के साथ पूरण पोली और 16 प्रकार के व्यंजनों का महाभोग लगाया जाएगा। इस अवसर पर सुहागिन और ब्राह्मण भोज भी होगा। शनिवार को अंतिम दिन महालक्षमी रूपी ज्येष्ठा और कनिष्ठा बहनों को विदाई दी जाएगी।