सिख समाज वृहद स्तर पर करेगा ‘चौपहरे पाठ साहिब का समागम’ 17 सितंबर को

 उज्जैन  । गुरुद्वारा सुख सागर फ्रीगंज में “चौपहरे पाठ साहिब का समागम” “वृहद स्तर पर “17 सितंबर ,रविवार को प्रात: 11:00 से लेकर 3:00 बजे तक किया जाएगा। उज्जैन मैं यह आयोजन पहली बार हो रहा है। जपु जी साहब का पाठ पांच बार,चौपाई साहिब का पाठ दो बार, सुखमनी साहिब का पाठ एक बार किया जाएगा, इसके उपरांत कीर्तन का आयोजन होगा एवं अरदास उपरांत गुरु जी के लंगर का वितरण होगा।
सभी गुरुद्वारा के अध्यक्षों की मीटिंग आयोजित कर समागम कार्यक्रम की योजना बनाई गई। सुरेंद्र सिंह अरोरा, इकबाल सिंह गांधी, दलजीत सिंह अरोरा, चरणजीत सिंह कालरा, पुरुषोत्तम सिंह चावला, आत्मा सिंह, बाबा त्रिलोक सिंह सरपंच, राजा कालरा, डॉ बी.एस मक्कड़, स्त्री सत्संग की कुलदीप कौर सलूजा, अलका अरोरा, दीप्पी बहन, मनिंदर कौर खनूजा, राजेंद्र कौर बिग, हरजीत कौर इत्यादि द्वारा कार्यक्रम को सफल बनाने का आवाहन किया। अलका, सुरेंद्र सिंह अरोरा परिवार ने उज्जैन के समस्त साद संगत से निवेदन किया है कि इस आयोजन में उपस्थित रहकर धन धन बाबा दीप सिंह जी की खुशियां प्राप्त करें।
सिख समाज के संभागीय प्रवक्ता एस.एस.नारंग ने बताया कि अमृतसर में बाबा दीप सिंह जी शहीद गुरुद्वारे में प्रति सप्ताह इसका आयोजन होता है। चौपहरे पाठ साहिब मैं जपुजी साहब का पाठ 5 बार किया जाता है। जपुजी साहब श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी की प्रथम वाणी है। श्री गुरु नानक देव जी द्वारा उच्चरित इस वाणी और सिख दर्शन का आधार कहा गया है श्री गुरु नानक देव जी ने कहा है कि नाम श्रवण करने से जपु जी साहिब की रचना में मुक्ति के लिए धर्म खंड, ज्ञान खंड, सरम खंड, करम खंड और सचखंड का वर्णन किया गया है।
एस.एस.नारंग ने बताया कि चौपहरे पाठ साहिब मैं “सुखमनी साहिब का पाठ एक बार किया जाता है यह दार्शनिक वाणी पंचम गुरु श्री गुरु अर्जन देव जी द्वारा रचित है। वाणी के मुख्य विषय जीव, जगत, माया, गुरु, ब्रह्मा और मोक्ष है। हर व्यक्ति माया से मुक्त होकर ब्रह्मा की उपासना कर जीव, मोक्ष प्राप्त कर सकता है।